
भारत में जन्मे इंटरनेशनल शेफ फ्लॉयड काडरेज का कोरोना वायरस (Coronavirus) की वजह से अमेरिका में निधन हो गया.
न्यूयॉर्क. भारत में जन्मे इंटरनेशनल शेफ फ्लॉयड काडरेज का कोरोना वायरस (Coronavirus) की वजह से अमेरिका में निधन हो गया. एवीएस टीवी ने यह जानकारी दी. न्यू-जर्सी के टीवी नेटवर्क के अनुसार, उनके परिवार ने पुष्टि करते हुए बताया कि काडरेज की मौत बुधवार को न्यूयार्क के अस्पताल में हो गई.
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काडरेज हंगर इंक के सह-मालिक थे, जिसके अंतर्गत मुंबई में तीन रेस्तरां- बांबे कैंटीन, ओ प्रेडो और बांबे स्वीट शॉप का संचालन होता था. एवीएस टीवी ने कहा कि हंगर इंक ने बयान जारी कर कहा था कि काडरेज न्यूयार्क में कोविड-19 से संक्रमित पाए गए थे और उनसे संपर्क करने वाले सभी लोगों को एहतियात बरतने के लिए कहा गया था.
बता दें कि अमेरिका में कोरोना वायरस से संक्रमित लोगों की संख्या 60 हजार के पार चली गई है, जबकि इस संक्रमण से 827 लोगों की मौत हो चुकी है. दुनिया के सबसे ताकतवर मुल्क अमेरिका पर कोरोना कहर बनकर टूट रहा है. एक दिन के अंदर ही वहां 10 हजार से ज्यादा मरीज सामने आए हैं.
60 हजार से ज्यादा कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या के साथ अमेरिका दुनिया में तीसरे नंबर पर आ चुका है. मंगलवार को अमेरिका में 10 हजार नए कोरोना संक्रमित मरीज सामने आ गए. एक दिन में अमेरिका में कोरोना वायरस से डेढ़ सौ लोगों की मौत हो गई. कोरोना वायरस का अमेरिका पर ये सबसे बड़ा अटैक है. दुनिया का सबसे ताकतवर मुल्क गंभीर खतरे में है. कोरोना से खतरे को लेकर विश्व स्वास्थ्य संगठन ने भी अमेरिका को आगाह किया है.
WHO ने कहा है कि अमेरिका कोरोना वायरस का नया केंद्र बन रहा है. WHO के खतरे के बावजूद अमेरिका राष्ट्रपति डोनाल्डट्रंप को उम्मीद है कि वो इस गंभीर खतरे से बेहद आसानी से निपट लेंगे. अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्डट्रंप ने ऐलान किया है कि वो पूरे अमेरिका को लॉकडाउन नहीं करेंगे.
न्यूयॉर्क न बन जाए दूसरा वुहान?
अमेरिका के सबसे बड़े शहरों में से एक न्यूयॉर्क है. न्यूयॉर्क अमेरिका की आर्थिक राजधानी भी है, लेकिन अमेरिका में कोरोना वायरस का सबसे बड़ा केंद्र न्यूयॉर्क ही बनता जा रहा है. अकेले न्यूयॉर्क में 25 हजार से ज्यादा लोग कोरोना संक्रमित हैं, जबकि 210 लोग अपनी जान गंवा चुके हैं. न्यूयॉर्क में अगर कोरोना संक्रमित मरीजों का आंकड़ा और बढ़ा तो अमेरिका की इकोनॉमी पर बहुत बुरा असर पड़ेगा. ट्रंप की जिद है कि वो अमेरिका में लॉकडाउन नहीं करेंगे लेकिन सवाल है कि क्या अमेरिका की 33 करोड़ आबादी की जान खतरे में डालकर देश की इकोनॉमी बचाई जा सकती है.
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